न्यूटन और आइंस्टीन, इन दो महान हस्तियों की एक छोटी सी कहानी से हम समझते हैं वैज्ञानिक विधि के एक महत्वपूर्ण पहलु को. वैज्ञानिक विधि यह आवश्यक बनाती है कि हम ऐसे सिद्धान्त प्रस्तुत करें जिनपर निर्भर हम कुछ पूर्वकथन (predictions) कर पायें, और फिर प्रयोग द्वारा जांच करें कि क्या हमारे पूर्वकथन ठीक हैं या नहीं. किसी सिद्धान्त पर विश्वास तभी बनता है जब उस सिद्धान्त पर आधारित पूर्व-कथनों की पुष्ठी हम अलग-अलग प्रयोग कर बार-बार कर पाते हैं.
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